रेल व्यवस्था का ग़रीब विरोधी चरित्र! लगातार बढ़ते ट्रेन हादसे! ज़िम्मेदार मोदी सरकार!!
एक ओर रेलवे का नेटवर्क विस्तारित किया गया है, दूसरी ओर रेलवे में कर्मचारियों की संख्या को लगातार कम करके मोदी सरकार मौजूदा कर्मचारियों पर काम के बोझ को भयंकर तरीके से बढ़ा रही है। ऐसे में, दुर्घटनाओं और त्रासदियों की संख्या में बढ़ोत्तरी की सँभावना नैसर्गिक तौर पर बढ़ेगी ही। ऐसी जर्जर अवरचना के भीतर मोदी सरकार बुलेट ट्रेन के शेखचिल्ली के ख़्वाब दिखा रही है, तो इससे बड़ा भद्दा मज़ाक और कुछ नहीं हो सकता।