पूँजीवाद और स्वास्थ्य सेवाओं की बीमारी
भारतीय संविधान के भाग 3, आर्टिकल 21 में एक मूलभूत अधिकार दिया गया है जिसको जीवन की रक्षा का अधिकार कहा जाता है, और साथ ही संविधान में वर्णित राज्य के नीति निर्देशक तत्वों में पोषाहार स्तर और जीवन स्तर को ऊँचा करने तथा लोक स्वास्थ्य में सुधार करने को राज्य के कर्तव्य की बात कही गयी है। इस प्रकार हमारे देश के हर नागरिक के जीवन और स्वास्थ्य की रक्षा और देखभाल की ज़िम्मेदारी सीधे तौर पर सरकार की है। लेकिन असल में होता इसका उल्टा है।