अम्बेडकरनगर के ग्रामीण इलाक़ों में बदहाल चिकित्सा व्यवस्था
प्राइवेट अस्पतालों का पूरा कारोबार ही सरकारी अस्पतालों की बर्बादी-बदहाली पर फलता-फूलता है जहाँ पर पैसे के बिना दवा-इलाज के बारे में सोचना भी गुनाह है। आये दिन अस्पतालों में पैसा न दे पाने की वजह से लाश को रोक लेने, इलाज रोक देने, गहना-गिरवी रखने आदि की घटनाएँ सामने आती रहती हैं। इनकी लूट का एक हिस्सा चन्दे के रूप में नेताओं, मन्त्रियों की जेबों में भी जाता है, और उनकी शह पर लूट का यह कारोबार बेरोकटोक चलता रहता है। इलाके में टीबी, कैंसर, शुगर, किडनी, मानसिक रोग ,साँप काटने, पेट दर्द और बुख़ार तक से आये दिन बच्चों, महिलाओं, नौजवानों, नागरिकों की मौतें होती रहती हैं।