असली मुद्दों से ध्यान भटकाने में लगे संघियों के झूठे और ज़हरीले प्रचार का पर्दाफ़ाश करना होगा!
कोरोना की दूसरी लहर ने जो क़त्लेआम मचाया है, यह हम सब जानते हैं। इन्सानों को मौत के आँकड़ों में तब्दील करने में फ़ासीवादी मोदी सरकार ने सबसे बड़ा योगदान दिया। जहाँ एक तरफ़ स्वास्थ्य व्यवस्था चरमरा रही थी, वहीं दूसरी तरफ़ सरकार चुनाव लड़ने में मस्त थी। कोरोना वायरस से पूरे देश में सरकारी आँकड़ों के हिसाब से अब तक 3.5 लाख मौतें हो चुकी हैं। पर असल आँकड़ा इससे कहीं ज़्यादा है यह जगज़ाहिर है।














