शहीद ऊधमसिंह पार्क में शहीदों के सपनों को पूरा करने का संकल्प लिया
बिगुल संवाददाता
31 जुलाई, कैथल। नौजवान भारत सभा (हरियाणा) द्वारा शहीद उधमसिंह के 76वें शहादत दिवस व कलम के सिपाही मुंशी प्रेमचन्द के 136 वें जन्मदिवस के अवसर पर देशभक्त यादगारी जुलूस निकाल गया। नौभास की आेर रमेश, अजय व जगविन्दर ने सभा को सम्बोधित किया। वक्ताओं ने कहा कि आज देश में नौजवानों के बीच हमें अपनी क्रान्तिकारी विरासत को लेकर जाने की जररूत है क्योंकि वर्तमान समाज साफ तौर शहीदों के सपनों का समाज नहीं है, आज पूरे देश की मेहनतकश जनता महँगाई, बेरोजगारी और लूट से त्रस्त है, आये दिन गरीब दलितों-अल्पसंख्यकों के खिलाफ हिंसा बढ़ती जा रही है। ऐसे में नौजवानों को शहीदों के सपने, समतामूलक समाज को बनाने का संकल्प लेना होगा।
नरवाना के गाँव धमतान साहिब के सरस्वती सीनियर सेकेंडरी स्कूल में निबन्ध लेखन और चित्रकला प्रतियोगिता का आयोजन किया. अलग-अलग स्कूलों के लगभग 50 विधार्थियों ने इसमें भाग लिया। नौभास के रमेश ने कहा कि 7 वर्ष की आयु के बाद उधम सिंह का पालन पोषण अनाथालय में हुआ लेकिन जलियांवाला हत्याकाण्ड का बदला लेकर देश का दाग धोने के जुनून में वो अपनी तमाम बाधाओं को पार करते हुए लंदन तक पहुंचे और वहां पर माइकल ओ डायर को ढेर किया। और इसी जुनून ने प्रेमचन्द की लेखनी को निरंतर गतिमान रखा। प्रिंसिपल नथीराम ने बताया कि सच्चा लेखक वही है जिसकी कलम जनता के संघर्षों से वास्ता रखे न कि कमरे में बंद बुद्धिजीवी। प्रेमचन्द ने सरकारी नौकरी छोड़कर जनता के संघर्षो से नाता जोड़ा. उनकी कलम ने पराधीनता, महिला उत्पीडन, जातिवाद, साम्प्रदायिकता के खिलाफ़ खुलकर बोला और तमाम कुप्रथाओं पर मुखर होकर हमला किया। जबकि आज के अधिकतर बुद्धिजीवी नेता मंत्रियों और सरकारों की चाटुकारीता में माहिर हैं और जनता से दगाबाजी करते हैं. आज भी हमारे सामने तमाम समस्याए हैं। नौजवान भारत सभा देश के नौजवानों को आह्वान करती है कि आज़ फिर से देश को जात-धर्म के नाम पार बाँटा जा रहा है। हमें उधम सिंह और प्रेमचन्द का सन्देश देश के कोने कोने तक लेके जाना होगा और जात-धर्म के नाम पर लड़ाने वाली ताकतों को मुहतोड़ जवाब देना होगा। प्रेमचन्द की कलम हमें उठानी होगी।
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